इचौली, हमीरपुर। मौदहा क्षेत्र के ग्राम करहिया में दंगल के बाद मेला मैदान में विराट कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया।
ओज के प्रसिद्ध कवि सुरेश भदौरिया ने अपनी रचना के माध्यम से देश की आजादी में प्राण न्यौछावर करने वाले वीरों को नमन किया।
जिन धीर वीरों ने स्वतंत्रता दिलाई हमेंउनका बखान आठों याम करते हैं हमओज पूर्ण कविता बनाके वीर रस घोलउनका प्रचार ग्राम-ग्राम करते हैं हमदेश हित जिन ललनाओं ने सुहाग दिएनित्य अविराम गुणगान करते हैं हमगांधीजी, सुभाष, चंद्रशेखर, भगत सिंहसकल शहीदों को प्रणाम करते हैं हम।
वीर रस के कवि धीरेन्द्र सिंह ने अपनी रचनाओं से पूरे वातावरण में उत्साह का संचार किया. उन्होंने शहीद सैनिक की पत्नी के त्याग और नाज़ को कुछ इस तरह प्रस्तुत किया- नाज़ मुझे खुद पर हो रहा है आज पियामेरा ये सिंदूर भारती के काम आया है।
पिता की चिता को आग भाई-बेटे देते आएपर ये सम्मान आज पत्नी ने पाया हैआपका ये बलिदान आज बान और शानमेरी कोख के लिए सबक बन आया हैसात महीने का गर्भ झूम-झूम कह रहाआज मेरे पापा ने तिरंगा लहराया है।
मैं हूं वो दीप जिसे आंधियां जलाएंगीखुद आफतें ही मुझे रास्ता दिखाएंगी मुझे यकीन हैं डूबा जो मैं समंदर मेंतो लहरें बनके सफीना किनारे लाएंगी।
माहौल में देश भक्ति का रंग घोलते हुए दिनेश दुवेदी ने अपनी रचनाओं के माध्यम से राष्ट्र प्रेम का आह्वान किया।
आन, मान सम्मान मिटे, एक-एक अरमान मिटेजिस भूमि पर जन्म लिया है, उस पर ही ये जान मिटेअगर जरूरत पड़े देश को लाख बार मिट जाऊ मैंमगर धरा से नहीं कभी मेरा हिन्दुस्तान मिटे।
कवि सम्मेलन कि अध्यक्षता राम कुमार शुक्ला ने कि रमेश सिंह मंडल अध्यक्ष रवि कुशवाहा, विवेक पाल, सुरेश तिवारी, जय कारण निषाद मौजूद रहे।
- एमडी प्रजापति