राजातालाब में नहीं है सामुदायिक शौचालय, जारी है खुले में शौच

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-शौचालय नहीं होने से स्वच्छता अभियान पर उठ रहे सवाल- राजकुमार गुप्ता

-सामुदायिक शौचालय बनवाने की मांग

वाराणसी: रोहनियां, राजातालाब तहसील मुख्यालय के राजातालाब चौराहे पर एक भी सामुदायिक शौचालय व मूत्रालय नहीं है। कहने के लिए यहां दो बार पेशाब घर का निर्माण हुआ है लेकिन वे हाईवे चौड़ीकरण व फ्लाईओवर निर्माण के कारण से विगत 2 साल से बंद पड़े हुए हैं। पूरे देश में स्वच्छ भारत का अभियान चलाया जा रहा है, जिसमें गांव से लेकर शहर तक घर-घर शौचालय बनवाए जा रहे हैं। ऐसे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र के इस तहसील मुख्यालय की उपेक्षा समझ से परे है। लोगों ने राजातालाब चौराहों पर सामुदायिक शौचालय बनवाने की मांग की है।

तहसील क्षेत्र का सबसे बड़ा चौराहा राजातालाब है, जहां सार्वजनिक शौचालय व मूत्रालय के अभाव में लोग सड़कों के किनारे गंदगी करने को विवश हैं। चौराहे से गुजरना मुश्किल है। उसके बाद यहां आराजी लाइन ब्लॉक मुख्यालय व ब्लॉक संसाधन केंद्र भी है। बावजूद चौराहों के आस पास या चौराहों पर कहीं भी सामुदायिक शौचालय नहीं है। वर्ष 2005 के पहले यहां पहले से बने मूत्रालय को हाईवे ने फोरलेन चौड़ीकरण में ध्वस्त करके हटा दिया जिसे आज तक नहीं बनाया गया वही वर्ष 2014 में राजातालाब तहसील का गठन होने के बाद राजातालाब में स्थानीय लोगों ने जनसहयोग से चंदा लेकर मूत्रालय बनवाए थे। जो पिछले दो साल से बंद हैं। उनका पुरसाहाल लेने वाला कोई नहीं है। सबसे अधिक परेशानी तहसील मुख्यालय पर आने वाले यात्रियों व वादकारियों सब्जी मंडी में आने वाले किसानों अढ़तियों और महिलाओं, बच्चों, दिव्यांगो और सैलानियों को होती है। स्थानीय निवासी सामाजिक कार्यकर्ता राजकुमार गुप्ता का कहना है कि तहसील मुख्यालय होने के साथ यहां पूर्वांचल की सबसे बड़ी सब्जी मंडी, आराजी लाइन विकास खंड कार्यालय, ब्लॉक संसाधन केंद्र, आधा दर्जन से अधिक बैंक, गल्ला मंडी, कई इंटर व डिग्री कॉलेज सहित अन्य सरकारी विभाग हैं, राजातालाब चौराहा चार जिलों को जोड़ता है यह क्षेत्र का प्रमुख वाणिज्यिक केंद्र है जहां प्रतिदिन हजारों लोगों का आना जाना लगा रहता है। ऐसे में सामुदायिक शौचालय व मूत्रालय नहीं होने से लोगों को भारी समस्या का सामना करना पड़ रहा है। स्थानीय जनप्रतिनिधि एवं आम जनमानस ने इसकी शिकायत आला अधिकारियों सहित प्रधानमंत्री के संसदीय कार्यालय में कई बार की, परंतु अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। इस संबंध में ग्राम प्रधान कचनार विजय पटेल का कहना है कि समस्या जायज है। राजातालाब चौराहे पर पंचकोशी मार्ग पर धर्मशाला की जमीन पर राजातालाब पुलिस चौकी थी जिसे वर्ष 2015 में डाक बंगला में स्थानांतरित कर दिया गया है पुरानी पुलिस चौकी धर्मशाला पर पुलिस कर्मियों का कब्जा है और नई पुलिस चौकी पर भी पर्याप्त स्थान होने पर यहां सामुदायिक शौचालय बनाने का ग्राम पंचायत से प्रस्ताव बनाया गया था लेकिन एसडीएम राजातालाब ने जमीन देने से इनकार कर दिया है और हाईवे चौड़ीकरण के दरमियान चौराहे पर जन सहयोग से बने उक्त मूत्रालय को भी तोड़ दिया गया है जिसका हाईवे प्रशासन ने आज तक सुधी नहीं लिया है। ऐसे में शौचालय नहीं होने से स्वच्छता अभियान पर उठ रहे हैं सवाल। लोग मजबूरी में खुले में शौच मल मूत्र त्यागने को विवश है।

-राजातालाब में दो साल से बंद चल रहे जनसहयोग से बनाए गए मूत्रालय जिसे हाईवे प्रशासन ने तोड़ दिया था।
सामाजिक कार्यकर्ता राजकुमार गुप्ता

धन्यवाद!

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राजकुमार गुप्ता

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