सुगिरा में अभी से पानी की त्राहि-त्राहि

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रिपोर्ट- राकेश कुमार अग्रवाल

जलस्रोत सूखे , कुओं में पानी नहीं , हैण्डपंपों ने दिया जवाब

कुलपहाड ( महोबा )
तहसील की बडी ग्राम पंचायतों में से एक कुलपहाड का निकटवर्ती ग्राम सुगिरा अभी से जल संकट से दो चार हो रहा है . गांव के कुँए रीते पडे हैं . हैंडपंपों ने भी जवाब दे दिया है .
नगर से महज 4 किमी. की दूरी पर झांसी – मिर्जापुर राष्ट्रीय राजमार्ग पर बसे ग्राम सुगिरा की आबादी 15000 से अधिक हो चुकी है . इतनी बडी आबादी गर्मी आने के पहले ही घोर जल संकट से जूझ रही है . गांव में एक सैकडा से अधिक छोटे बडे कुंए हैं जो पूरी तरह रीत गए हैं . केवल इक्का दुक्का कुआ में ही एक दो फुट पानी बचा है . ज्यादातर कुँओं से पानी की जगह कीचड , मिट्टी , बालू आने लगी है . गांव के खुशीपुरा का कुंआ , रेवन का कुआ , मिठऊआ कुआ , टंकी के निकट बना कुआ , गांधी चौराहे का कुआ सभी पूरी तरह से सूख गए हैं .
गांव में लगभग 120 हैंडपम्प लगे हैं जिनमें से आधे से अधिक खराब पडे हैं . कुछ हैंडपम्प तो पानी कम हवा ज्यादा देते हैं . तो कुछ हैंडपंपों से बूंद बूंद पानी रिसता सा है . हैंडपंपों को सुधारने की प्रशासन द्वारा सुध न लेने पर मजबूरी में खराब पडे हैंडपंप को गांव के लाल मोहम्मद , सुरेश तिवारी , प्रमोद नामदेव , सलीम मंसूरी , नीलू अरजरिया , हलीम मंसूरी व धर्मेन्द्र गुप्ता ने चंदा करके रिपेयर करा रहे हैं . तमाम हैंड पंप रीबोर होने के पहले पानी नहीं देंगे .
जलापूर्ति के लिए पाइप लाईन से लम्बे अरसे से पानी नहीं आ रहा है . जब इंसान पानी को तरस रहे हैं तो इस बार मूक पशुओं को पानी कैसे मिलेगा यह सवाल मुंह बाये खडा है .

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