जय जवान वेलफेयर फाउंडेशन उत्तर प्रदेश के पदाधिकारी भी मौजूद रहे।
रायबरेली , पंजाब के जलियांवाला बाग के बाद की अंग्रेजो की सबसे बड़ी बर्बरता का उदाहरण उत्तर प्रदेश के रायबरेली के सईं तट पर स्थित मुंशीगंज में 7 जनवरी 1921 को अंग्रेजों के ख़िलाफत करने पर रायबरेली के किसानों पर गोलियां बरसाया जाना था। रायबरेली के मुंशीगंज में 750 किसान शहीद एवं 1500 से अधिक किसान घायल हुए थे जिसे हम रायबरेली का जलियांवाला बाग कहते हैं। क्योंकि यहां से बहने वाली सई नदी किसानों के लहू से लाल हो गई थी ऐसा बुजुर्ग बताते रहे हैं। जिनकी हम सब 103वी श्रंद्धाजलि बर्सी मना रहे हैं।
इस मौके पर रायबरेली के जय जवान वेलफेयर फाउंडेशन उत्तर प्रदेश की ओर से प्रदेश महासचिव मा. नरेंद्र सिंह फौजी, जिला सचिव धर्मेन्द्र सिंह फ़ौजी, अजय सिंह फौजी, दिलीप सिंह भदौरिया फ़ौजी एवं जीतेंद्र अवस्थी फ़ौजी आदि सैकड़ो फौजियों के साथ उन किसान क्रांतिकारियों जाने और अनजाने उन शहीदों को नमन, वंदन करके उनको सच्ची श्रद्धांजलि अर्पित किया गया।
सभी ने भारत माता के जयकारे लगाएं इस मौके पर संकल्प लिया कि कभी भी भारतवर्ष के आन बान शान के प्रति समझौता नहीं किया जाएगा तिरंगा हमारा विश्व विजेता रहा है और हमेशा रहेगा साथ ही सभी फौजी भाई सत्कर्मों के कार्य करते हुए समाज को आगे बढ़ाने का कार्य हमेशा करेंगे यह बात धर्मेंद्र सिंह फौजी ने कही। वही कार्यक्रम के अंत में नरेंद्र सिंह फौजी ने अपने विचारों से देशभक्ति का जज्बा भरा भारत माता की जय के गगनभेदी जयकारे भी लगाया।
रिपोर्ट- मनीष श्रीवास्तव
फौजियों ने मुंशीगंज गोलीकांड में देश के लिए प्राण न्यौछावर करने वाले शहीदो को दी श्रद्धांजलि
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