रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष वीके यादव ने गुरुवार को दी जानकारी
भारतीय रेलवे जल्द ही विमानों के किराए की तर्ज पर पुनर्विकसित और काफी व्यस्त स्टेशनों पर यात्रियों से किराए में ‘यूजर चार्ज’ वसूलना शुरू करेगा. रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष वीके यादव ने गुरुवार को बताया कि यात्रियों को बेहतर सुविधाएं मुहैया कराने के क्रम में राजस्व जुटाने के लिए यह फैसला किया गया है.
यादव ने कहा कि शुल्क मामूली होगा और यह देश के सात हजार रेलवे स्टेशनों में से लगभग 10-15 फीसदी स्टेशनों पर ही लागू होगा.
प्राइवेट प्लेयर्स को अपने तरीके से किराये तय करने की आजादी
अंग्रेजी अखबार द इकनॉमिक टाइम्स के मुताबिक, यादव ने कहा, ”प्राइवेट प्लेयर्स को अपने तरीके से किराये तय करने की आजादी दी गई है. लेकिन वातानुकूलित बसें और विमान भी उन रूट्स पर चलते हैं, ऐसे में उन्हें किराया निर्धारित करने से पहले यह ध्यान में रखना होगा.”
ट्रेन की शुरूआत और गंतव्य के 109 मार्गों को भारतीय रेलवे नेटवर्क के12 संकुलों में रखा गया है. हर ट्रेन में न्यूनतम 16 डिब्बे होंगे. रेलवे के मुताबिक, इनमें से ज्यादातर आधुनिक ट्रेनों की मैन्युफैक्चरिंग भारत में ‘मेक इन इंडिया’ के तहत होगी और निजी इकाई उसके वित्त पोषण, खरीद, परिचालन और रखरखाव के लिए जिम्मेदार होंगी.
ट्रेनों की डिजाइन इस तरह की होगी कि वे 160 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से चल सकें. रेलवे के मुताबिक, परियोजना के लिए छूट अवधि 35 साल होगी और निजी इकाई को भारतीय रेलवे को ढुलाई शुल्क, वास्तविक खपत के आधार पर ऊर्जा शुल्क देना होगा.